इतालवी पराठा हो या पिज़्ज़ा ,पास्ता हो या कोई और इतालवी खाद्य बेहद स्वादु होता है मगर ठहरिये -देखिये ये कैसे अनाज का बना है मोटे या परिष्कृत ,होल ग्रेन इस्तेमाल हुआ है इसका क्रस्ट ,ललचाऊ बाहरी आवरण तैयार करने में या फिर परिष्कृत।
नथुनों में भर जाती है इसकी महक और खूशबूएं लेकिन यह आपके हाथ में है :
आप कितना पोर्शन खाते हैं। कैसा क्रस्ट खाते हैं -एक चौथाई ,या आठवां हिस्सा फुल साइज़ पिज़ा का ,थिन क्रस्ट का आर्डर देते हैं या थिक का ,कितनी और कैसी चटनी और लाल मिर्ची का इस्तेमाल करते हैं। रेड चिली फ्लेक्स मेटाबोलिस्म को अपचयन की दर को बढ़ा देती है। टमाटर की चटनी (सॉस )पौरुष ग्रंथि के कैंसे के खतरे को काम कर सकती है। पौष्टिक पिज़्ज़ा यदि अल्पांश में ही खाया जाए इसके साथ पैकेज के चक्क्रों से कोला पेयों से बचा जाए तब यह दिल और दिमाग के लिए आघात के खतरों के वजन को कम भी कर सकता है। ऐसा होगा तभी जब आप खाद्य रेशों से भर-पूर होल ग्रेन क्रस्ट का ही आर्डर देंगें। ये रेशे आपके पाचन तंत्र को दुरुस्त रखेंगे ,आवश्यक रेशों की उपलब्धि जीवन शैली रोग मधुमेह के खतरे के वजह को भी कम करेगी ।चीज़ की बस एक ही लेयर का आर्डर दीजिये। एक पिज़्ज़ा में सौ ग्राम तक चीज़ भी हो सकता है याद रखिये।
और हाँ टोमेटो सास ज्यादा रखवाइये अपने आर्डर में।
सीमित मात्रा में आप यदि किसी मेडिकल कंडीशन से ग्रस्त नहीं है तो बिला शक पिज़्ज़ा खा सकते हैं कुल केलोरीज़ का हिसाब रखिये। पैकेज में उपलब्ध अन्य सामग्री से बचिए।
अति हो सकती है इस ललचाऊ खाने की जिसका चस्का पड़ जाता है।
सत्तर के दशक में दिल्ली में जन थिएटर बहुत शोर मचाये था -अदरक के पंजे ,हलुवा सूजी का चस्का दूजी का ,खामोश अदालत ज़ारी है , घासी राम कोतवाल ,आदिक ,लोग आदी हो गए थे इन तमाशों के ।
यहां भी यही हाल हो सकता है। .... पराठा इटली का ... एक शोध से बाकायदा पुष्ट हुआ है :
पिज़्ज़ा एक ऐसा खाद्य है जिसकी लत पड़ जाती है इसमें हर वो चीज़ मौजूद है जो दिमाग के एक ख़ास हिस्से की कोशिकाओं न्यूरॉन को बहकाती है भड़काती है। इससे आपको जरुरत भर का विटामिन C भी उपलब्ध हो जाएगा।
चीज़ में कैल्शियम की मौजूदगी भले वजन काम करने में सहायक सिद्ध होती हो इसकी मात्रा को ऊपर की एक पर्त तक ही सीमित रखवाइये। अति यहां भी भली नहीं है :
अति का भला न बोलना ,अति की भली न चुप ,
अति का भला न चीज़ है ,अति की भली न सास।
What’s not to love about this Italian export? Other foods, you eat. Pizza, you experience. Devouring a slice is a process that involves all the senses: the aroma coming from the oven, the sight of the molten cheese, the feel of the cornmeal-dusted crust in your hands, the sound of the crunch as you bite into it. And, of course, the taste-that unparalleled combo of dough, sauce, herbs, and cheese. Here are some facts about Pizza.